परिवहन विभाग ने चालकों को स्मार्ट ड्राइविंग लाइसेंस जारी कर दिए। लेकिन नियमों की अवहेलना करने वालों के लाइसेंस पंच करने के लिए कार्ड राइडर मुहैया नहीं करवाए। पुरानी प्रक्रिया से कार्ड पंच करने में स्मार्ट कार्ड की चिप खत्म होने का खतरा है। ऐसे परिवहन विभाग और यातायात पुलिस कार्ड पंच नहीं कर पा रहे हैं।
प्रदेश में मार्च 2014 से स्मार्ट ड्राइविंग लाइसेंस जारी किए जा रहे हैं। 21 माह बीत जाने के बाद भी परिवहन विभाग और यातायात पुलिस के पास कंप्यूटरीकृत कार्ड राइडर नहीं है,जिनसे लाइसेंस को पंच किया जा सके। कार्ड राइडर परिवहन विभाग की ओर से दिए जाने हैं। परिवहन मुख्यालय जयपुर के आदेश पर निजी फर्म द्वारा स्मार्ट लाइसेंस बनाने का काम किया जा रहा
है।
इसलिए जरूरी है लाइसेंस पंच करना
मोटरव्हीकल एक्ट के सेक्शन 19,20 और 21 के तहत वाहन चालक का लाइसेंस पांच चरणों में पंच किया जा सकता है। दो बार लाइसेंस पंच किए जाने के बाद यातायात पुलिस की ओर से परिवहन विभाग को ऐसे वाहन चालकों के लाइसेंस निलंबित किए जाने की अनुशंसा की जाती है। पहले दो बार पंच किए जाने पर चेतावनी देकर छोड़ा जाता है,तीसरी और चौथी बार जिला परिवहन अधिकारी 15 दिन से 6 महीने तक लाइसेंस निलंबित किया जा सकता है। पांचवीं बार लाइसेंस को स्थाई तौर पर बर्खास्त कर दिया जाता है।
इन अपराधों में ड्राइविंग लाइसेंस पंच:वाहन चलाते समय मोबाइल पर बात करना। वाहन चलाते समय शराब पीया होना या पीना। ट्रैफिक लाइट का उल्लंघन करना। बगैर हेलमेट दुपहिया वाहन चलाना। तेज गति से वाहन चलाना और स्टंट करना।
पुराने लाइसेंस में पंचिंग के लिए दिया गया था मार्क:जो लाइसेंस परिवहन विभाग की ओर से मार्च 2014 के पहले साधारण कार्ड शीट पर जारी किए गए हैं। उन्हें पंचिंग मशीन से पंच किया जा रहा है
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